भोपाल : मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मीडिया के माध्यम से अपील की है कि वो जन्मदिन नहीं मनाएंगे और अगर आपको उनसे स्नेह है तो अपने आसपास एक पेड़ लगा दें। इससे बड़ी शुभकामना और आशीर्वाद उनके लिए कुछ नहीं होगा। बता दें कि शुक्रवार को सीएम ने घोषणा की थी कि वे अपना जन्मदिन नहीं मनाएंगे। रविवार 5 मार्च को उनका जन्मदिन है और उन्होने कहा है कि वो इस दिन भी सामान्य दिनों की तरह अपना काम करेंगे।

जन्मदिन नहीं मनाने की अपील
सीएम शिवराज ने दोहराया है कि ‘जन्मदिन किसी भी व्यक्ति के जीवन में महत्वपूर्ण होता है। लेकिन महत्वपूर्ण समय को महत्वपूर्ण काम में खर्च करना चाहिए। दिनभर मैं जन्मदिन मनाता रहूं तो नुकसान होगा जनता का। मेरे दिल ने कहा कि क्यों न दिनभर काम किया जाए। लोग भी परेशान होते हैं..बुके, शॉल, स्मृति चिन्ह लेकर आते हैं। लोगों का समय भी क्यों खराब हो। इसलिए मैंने अपील की है..मैं मीडिया के माध्यम से फिर अपील करता हूं कि मैं जन्मदिन नहीं मनाऊंगा। कल भी मैं काम करूंगा। अगर आपको मुझसे स्नेह है तो जहां रहते हैं वहीं आसपास एक पेड़ लगा दें। उससे बड़ी शुभकामना और आशीर्वाद मेरे लिए कुछ नहीं होगा।’ इससे पहले शुक्रवार को भी उन्होने कहा था कि कोई भी व्यक्ति या पार्टी कार्यकर्ता उनके जन्मदिन पर होर्डिग्स न लगाए न ही किसी और तरह की औपचारिकता करे। उन्होने कहा कि ये महत्वपूर्ण दिन महत्वपूर्ण काम में ही लगना चाहिए और वो चाहते हैं कि वो इस दिन सरकार के जरूरी काम करें और जनता की सेवा करें।
राजनीतिक सफर
सीएम शिवराज सिंह चौहान का जन्म 5 मार्च 1959 को मध्य प्रदेश के बुधनी में हुआ था। उनके पिता का नाम श्री प्रेमसिंह चौहान और माता श्रीमती सुंदरबाई चौहान हैं। 23 मार्च 2020 को वे मध्य प्रदेश के चौथी बार मुख्यमंत्री बने और उनके नाम सबसे अधिक समय तक मुख्यमंत्री रहने का रिकॉर्ड भी दर्ज है। शिवराज सिंह मध्यप्रदेश में सबसे लम्बे समय तक मुख्यमंत्री के रूप मे कार्यभार संभालने वाले पहले मुख्यमंत्री हैं।मध्य प्रदेश में वो ‘मामा’ के रूप में लोकप्रिय हैं और हाल ही में उनकी सरकार ने इस कार्यकाल का अंतिम बजट पेश किया है। पहली बार उन्होने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री पद के लिए उन्होने 29 नवंबर 2005 को शपथ ली थी। उनके राजनीतिक सफर की शुरूआत 1990 में बुधनी विधानसभा क्षेत्र के विधायक बनने से हुई और 1991 में वे विदिशा संसदीय क्षेत्र से पहली बार सांसद बने।