भोपाल : लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लगी हुई है। लेकिन इसके बावजूद रिश्वतखोर अधिकारी कर्मचारी रिश्वत लेने से बाज नहीं आ रहे हैं। लगातार लोकायुक्त द्वारा ऐसे भ्रष्ट अफसरों की धर पकड़ की जा रही है। इसी बीच बड़ी कार्रवाई इंदौर लोकायुक्त पुलिस की टीम ने 36 हजार की रिश्वत लेते हुए दो कर्मचारी को रंगे हाथ हाथ गिरफ्तार किया है।
क्या है पूरा मामला
इंदौर लोकायुक्त पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक, फरियादी अमन राठौर पिता स्वर्गीय संतोष राठौर उम्र 17 वर्ष ने लोकायुक्त कार्यालय में एक शिकायती आवेदन दिया था, जिसमें फरियादी ने आवेदन में जानकारी देते हुए बताया कि आवेदक के अनुसार अगस्त 2023 में उसके द्वारा मुख्यमंत्री बाल आशीर्वाद योजना के तहत आवेदन पत्र महिला एवम् बाल विकास विभाग कार्यालय खंडवा में दिया गया था। आवेदक के पिता की मृत्यु होने से आवेदक एवं उसकी बहन के नाम से आवेदन कार्यालय द्वारा स्वीकृत किया गया था जिसमें प्रत्येक माह ₹4000 की राशि दोनों बच्चों की शिक्षा हेतु प्रथक प्रथक स्वीकृत की गई थी।
इस योजना के तहत कोरोना महामारी में अथवा अन्य कारण से मां-पिता को खो चुके 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को सरकार की ओर से हर महीने एक निश्चित राशि दी जाती है। 7 माह के हिसाब से 56000 रु कार्यालय द्वारा आवेदक के खाते में अंतरित किये गए जिसमें से ₹36000 की कार्यालय में सामाजिक कार्यकर्ता के पद पर पदस्थ मनोज दिवाकर एवं कंप्यूटर ऑपरेटर संजय जगताप द्वारा इस कार्य को करने और भविष्य में भी ये राशि मिलती रहे इसके एवज़ में मांग की गई तथा पेमेंट नहीं देने पर योजना का लाभ आगे नहीं दिए जाने का कहा गया।
लोकायुक्त ने पहले तो शिकायतकर्ता अमन राठौर की शिकायत का सत्यापन करवाया गया। जिसमें बातचीत के दौरान आरोपीगण द्वारा 36000 रुपये लेना तय किया। आवेदन पत्र के सत्यापन एवं आरोपियों से हुई बातचीत के आधार पर शुक्रवार को खंडवा स्थित कार्यालय में आरोपी मनोज दिवाकर एवं संजय जगताप 36 हजार रुपए की राशि के साथ लोकायुक्त पुलिस ने उन्हें मौके पर रंगे हाथों दबोच लिया। जिसके बाद दोनों आरोपियों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराओं में मामला दर्ज कर लिया। कार्रवाई के बाद दोनों को मुचलके पर जमानत दे दी गई है।