नई दिल्ली : इजराइल के साथ काम करने के विरोध में बीतें दिनों गूगल कर्मचारियों के गिरफ्तारी के बाद कंपनी ने 28 लोगों को नौकरी से निकाल दिया। जिसके बाद गूगल सीईओ सुंदर पिचाई ने इस पूरे घटनाक्रम के लेकर अपने कर्मचारियों के लिए एक ब्लॉग पोस्ट लिखा है। इस ब्लॉग पोस्ट के माध्यम से कर्मचारियों को सख्त हिदायत देते हुए कहा गया कि वो दफ्तर में आने के बाद काम करें, ना कि राजनीति के चक्कर में उलझें।
सुंदर पिचाई ने लिखा ब्लॉग पोस्ट
बीते कुछ दिनों से गूगल कंपनी में चल रहे उथल-पुथल को लेकर सुंदर पिचाई ने कर्मचारियों के नाम एक संदेश लिखा है। उन्होंने अपने ब्लॉग पोस्ट में गूगल का कल्चर शुरू से खुली बातचीत को बढ़ावा देने वाला रहा है। यही एक वजह हमें बेहतरीन प्रोडक्ट बनाने और अच्छे आइडियाज पर एक्शन लेने के काबिल बनाता हैं। कंपनी की अपनी कुछ पॉलिसी है जिसका पालन सभी को करना है। उन्होंने लिखा कि यहां पर बिजनेस से संबंधित काम किए जाते है इसलिए यहां पर ना तो व्यवधान पहुंचाने वाले मुद्दों को लेकर आपस में लड़ें ना ही राजनीति पर कोई चर्चा करें।
पहले भी दी जा चुकी है ऐसी हिदायत
बता दें कि सुंदर पिचाई के इस संदेश से पहले ऐसी ही हिदायत गूगल के हेड ऑफ सिक्योरिटी क्रिस रैको ने भी दी थी। उन्होंने भी कर्मचारियों से कहा था कि उन्हें तार्किक रहना चाहिए क्योंकि उनका हमारा लक्ष्य दुनिया की इंफॉर्मेशन को ऑर्गनाइज करना और भरोसेमंद जानकारी उपलब्ध कराने वाला बने रहना है।
क्या है पूरा मामला?
दरअसल गूगल की पेरेंट कंपनी अल्फाबेट इंक और अमेजन डॉट कॉम ने इजराइल को एआई और क्लाउड सर्विस देने के लिए एक जॉइंट कॉन्ट्रैक्ट पर साइन किया था। इसी प्रोजक्ट का नाम निम्बस है जिसको लेकर कुछ कर्मचारियों ने विरोध किया, जिसके बाद उन्हें कंपनी से निकाल दिया गया। ऐसे में गूगल के कर्मचारी वहां के वर्क कल्चर को लेकर सवाल कर रहे है जिसके बाद सुंदर पिचाई ने ब्लॉग पोस्ट लिखा।