भोपाल: मध्य प्रदेश में जबलपुर के बिशप पीसी सिंह को नागपुर एयरपोर्ट से सोमवार को गिरफ्तार कर लिया। जिसके बाद प्रारंभिक पूछताछ में पीसी सिंह ने कई अहम जानकारी दी है। अब तक 10 एफडी में करीब 2 करोड़ रुपये से ज्यादा की जानकारी मिली है। साथ ही अलग-अलग बैंकों में 174 खाते मिले हैं, इसमें से 128 बैंक खाते सिंह और उसके परिवारवालों के नाम हैं। और बाकी 46 खाते शैक्षणिक संस्थाओं के होना पाए गए हैं।
जबलपुर ईओडब्ल्यू के अधिकारी ने बताया कि बिशप पीसी सिंह को नागपुर एयरपोर्ट पर अभिरक्षा में लिया गया है। बिशप के हर मूवमेंट पर हमारी नजर थी। और हमें जानकारी मिली थी कि वह नई दिल्ली-बेंगलुरु होते हुए नागपुर आ रहा है। बिशप पीसी सिंह अपने आप को किसी वीआईपी से कम नहीं समझता है। उसने अपनी सुरक्षा के लिए गनमैन तैनात कर रखे हैं। टीम में आठ से 10 गनमैन रहते हैं।
बताया जा रहा है कि आय से अधिक संपत्ति एवं मिशन स्कूल के लिए आवंटित जमीन का व्यवसायिक उपयोग करने वाले अरबपति बिशप पीसी सिंह विदेश भागने की फिराक में था। ईओडब्ल्यू की पूछताछ में उसके विदेश भागने का खुलासा हुआ है।
बता दें कि बिशप के घर छापे में 1 करोड़ 65 लाख नगद मिली थे। जिसमें 18 हजार की विदेशी करेंसी भी बरामद हुई थी। वहीं 80 लाख 72 हजार के सोने के जेवर के अलावा लग्जरी कार और इंपॉर्टेंट वॉच भी बरामद हुई थी। बिशप पीसी सिंह के खिलाफ स्कूलों से मिलने वाले पैसों से धार्मिक संस्थान संचालन करने का आरोप है।
इसके अलावा धार्मिक सस्थाओं, सम्पत्ति सहित सोसायटी से संबंधित दस्तावेज मिले। इस मामले में शिकायत मिली थी कि सोसायटी की विभन्नि शैक्षणिक संस्थानों से मिलने वालो छात्रों की फीस की राशि का उपयोग धार्मिक संस्थाओं को चलाने एव स्वंय के इस्तेमाल किया जा रहा है।
बिशप पीसी सिंह और उसके साथियों पर 107 मामले दर्ज है। अधिकारी ने बताया कि करीब 35 केस में बिशप पीसी सिंह नामजद आरोपी है। उत्तरप्रदेश, पंजाब, राजस्थान, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश में केस दर्ज हैं। इसी कड़ी में जबलपुर में हुई कार्रवाई मामले में धारा 406, 420, 468, 471, 120बी के तहत अपराध दर्ज किया गया है।