भोपाल। धार के कारम डेम को लेकर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने हाईलेवल मीटिंग बुलाई थे जिसके बाद सीएम ने जानकारी देते हुए लोगों से अपील की है कि बांध से सीपेज के कारण जो परिस्थितियां पैदा हुई है उस पर कल से ही मैं नजर रखे हुआ हूँ हमारे दोनों मंत्री जल संसाधन मंत्री तुलसी सिलावट और स्थानीय मंत्री राज्यवर्धन दत्तीगांव जी कल से ही बांध स्थल पर मौजूद है। हमारे इंजीनियर विशेषज्ञों की टीम कमिश्नर, कलेक्टर, प्रशासनिक सारे अधिकारी बांध स्थल पर और प्रभावित होने वाले क्षेत्र में कल से ही उपस्थित हैं। कल भी और आज भी मेरी आदरणीय प्रधानमंत्री जी से भी इस स्थिति के बारे में पूरी चर्चा हुई है।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि हमने जो विशेषज्ञ हो सकते हैं, रुड़की डॉक्टर एनके गोयल उनसे हम लगातार संपर्क में हैं। वह हमें गाइड कर रहे हैं बांध सुरक्षा के राष्ट्रीय विशेषज्ञ उनसे भी हम लगातार संपर्क में है। उनका भी मार्गदर्शन में प्राप्त हो रहा है। भोपाल कंट्रोल रूम से सीएस और एसीएस, एसीएस जल संसाधन और एसीएस होम निरंतर स्थिति पर नजर रखे हुए हैं। हमारा प्रयास है, एक बाईपास चैनल बन जाए जिससे पानी बाईपास करके निकाला जा सके कल से लगातार वह काम चल रहा है लेकिन, कड़ी चट्टानों के कारण उसको पूरा करने में देर लग रही है। जनता की सुरक्षा हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है और इसलिए हमारे भाई बहन सुरक्षित रहें जनता सुरक्षित रहे इसलिए 12 गांव धार जिले के और 6 गांव खरगोन जिले के हमने खाली कराए हैं। हम लगातार स्थिति की समीक्षा कर रहे हैं। विशेषज्ञों से सलाह मशवरा कर रहे हैं। हम जनता के जीवन की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए जो उचित और बेहतर फैसला होगा उसे हम लेंगे। मैं जनता जनार्दन से अपील करना चाहता हूं। प्रभावित गांव जो खाली कराएं हैं, उन भाइयों बहनों से मेरी प्रार्थना है की कृपा कर प्रशासन का सहयोग करें, गांव में ना जाएं और राहत कार्य में प्रशासन जहां रख रहा है वहां जाने की कृपा करें। बेहतर से बेहतर स्थिति को नियंत्रित करने का प्रयास कर रहे हैं। लेकिन आप सहयोग के बिना यह संभव नहीं है। अपने पशुओं को भी गांव में ना रहने दे। प्रशासन की टीम पूरी लगी हुई हैं, जनप्रतिनिधि लगे हुए हैं, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सेवक भी लगे हुए हैं। इन्होंने गांव को खाली करवाने में सहयोग किया है। इस समय मैं सब से अपील करता हूं की एक साथ मिलकर सहयोग करे ताकि हम इस संकट से निपट सके।