बॉलीवुड के दिग्गज कलाकार ऋषि कपूर की आखिरी फिल्म ‘शर्माजी नमकीन’ ओटीटी प्लेटफॉर्म पर रिलीज हो चुकी है। गौरतलब है कि ‘शर्माजी नमकीन’ की शूटिंग के दौरान ही 30 अप्रैल 2020 को दिवंगत अभिनेता ऋषि कपूर उर्फ चिंटू जी का निधन हो गया था। प्रोस्थेटिक, वीएफएक्स के इस्तेमाल के बाद अभिनेता परेश रावल को ‘शर्माजी नमकीन’ के बचे हुए दश्यों को पूरा करने का जिम्मा सौंपा गया। हालांकि पहले ऋषि कपूर और फिर परेश रावल के साथ वीणा मनचंदा का किरदार निभाना जूही चावला के लिए आसान नहीं था। उनके इस दर्द, दुख और असमंजस की स्थिति को समझने के लिए अमर उजाला डॉट कॉम के संपादक जयदीप कर्णिक ने जूही चावला से खास बातचीत की।
1992 से लेकर अब तक आपने दिवंगत अभिनेता ऋषि कपूर के साथ कई फिल्मों में काम किया। यूं ‘शर्माजी नमकीन’ की शूटिंग के दौरान उनका इस कदर दुनिया को अलविदा कहना और फिर अभिनेता परेश रावल के साथ ऋषि कपूर के अधूरे दृश्यों को फिल्माने का आपका यह अनुभव कैसा रहा?
चिंटू जी से जलन होती थी – जूही चावला
हंसते-हंसते दिल को छू लेनी वाली फिल्म ‘शर्माजी नमकीन’ की स्क्रिप्ट पढ़ने के तुरंत बाद ही हमने इसके लिए हां कह दिया था। मजेदार ट्विस्ट के बाद खट्टी – मीठी जिंदगी को दर्शाने वाली इस फिल्म की कहानी सुनकर ही मजा आ गया था। जब इस बात की जानकारी मिली कि इस फिल्म में चिंटू जी (ऋषि कपूर) शर्माजी का किरदार निभाने वाले हैं, तो उत्साह और बढ़ गया। हालांकि बतौर अभिनेता चिंटू जी से जलन भी होने लगी थी। क्योंकि उन्हें फिल्म में अपने जैसा ही खट्टा-मीठा किरदार मिला था।
लेकिन जब शूटिंग शुरू हुई तब उनकी तबीयत ठीक नहीं थी। इसलिए शूटिंग को बीच में ही रोक दिया गया और वह ईलाज के लिए चले गए। हम सब उनका इंतजार कर रहे थे। एक साल बाद जब चिंटू जी ठीक होकर भारत लौटे, तब हमने फिर से शूटिंग शुरू की। दिल्ली में आठ दिनों की शूटिंग के बाद मैं ब्रेक लेकर मुंबई आ गई। लेकिन अचानक सेट से फोन आया कि चिंटू जी को ठीक नहीं लग रहा है, इसलिए अभी कुछ दिनों के लिए शूटिंग को पोस्टपोन किया जा रहा है।
उस समय देश में कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ रहे थे। सरकार ने महामारी की रोकथाम के लिए लॉकडाउन लगा दिया था। कुछ समय तक तो हम इसी उम्मीद में बैठे थे कि जल्द ही पाबंदियां हटेंगी, चिंटू जी सेट पर लौटेंगे और हम शूटिंग शुरू करेंगे। हालांकि ऐसा नहीं हुआ। और कुछ समय बाद कॉल आया कि…..कि चिंटू जी नहीं रहे…..बहुत धक्का लगा। कुछ समय पहले तक तो हम उनके साथ शूट कर रहे थे। उनकी बेहतरीन परफॉर्मेंस को लाइव देख रहे थे। और अचानक से वह हम सबको अकेला छोड़कर चले गए।
जब ऋषि कपूर के निधन की खबर सामने आई, तब कहीं-न-कहीं आप लोगों को इस बात की चिंता भी होगी कि अब इस फिल्म का क्या होगा? फिल्म की शुरुआत में रणबीर कपूर यह बताते भी हैं कि फिल्म को पूरा करने के लिए यह कोशिश भी की गई कि रणबीर खुद मेकअप करके ऋषि कपूर का किरदार निभाएं। लेकिन वो काम नहीं आया। वीएफएक्स का कमाल भी नहीं चल पाया। फिर यह विचार कैसे आया कि इसमें अभिनेता परेश रावल को कास्ट किया जाए और शर्माजी के किरदार में कहीं ऋषि कपूर, तो कहीं परेश रावल को दिखाया जाए?
चिंटू जी के जाने के बाद फिल्म निर्माताओं के सामने थीं ये चुनौतियां
चिंटू जी के जाने के कुछ समय बाद फिल्म ‘शर्माजी नमकीन’ के निर्माता रितेश सिधवानी का फोन आया। उन्होंने कहा कि ‘यह चिंटू जी की आखिरी फिल्म है और तबीयत खराब होने के बावजूद उन्होंने इसकी शूटिंग की। इसलिए हम उनके काम को पर्दे पर जरूर दिखाएंगे।’ उनकी यह बात सुनकर मैं हैरान रह गई। क्योंकि इस फिल्म के लिए चिंटू जी ने सीक्वेंस-वाइज शूट नहीं किया था। बल्कि बीच-बीच के सीन्स की ही शूटिंग हो पाई थी।