भोपाल : आर्थिक आधार पर आरक्षण, बिना जांच एट्रोसिटी एक्ट में गिरफ्तारी रोकने सहित 22 सूत्रीय मांगों को लेकर करणी सेना भोपाल के जंबूरी मैदान पर महा आंदोलन कर रही है, आन्दोलन के तीसरे दिन भी करणी सेना परिवार के प्रमुख जीवन सिंह शेरपुर समेत 5 कार्यकर्ता भूख हड़ताल, आमरण अनशन पर बैठे हैं। उधर इस मामले में प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ ने अपनी प्रतिक्रिया दी है मीडिया के सवालों पर कमल नाथ ने कहा कि किसी भी बात का हल चर्चा के माध्यम से किया जाना चाहिए मुख्यमंत्री को और सरकार को समझना चाहिए कि उनका आक्रोश किस बात पर है और उनकी बात सुनकर रास्ता निकालने का प्रयास करना चाहिए।
NRI की तकलीफ और निवेश को लेकर उठाये सवाल
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवम पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ ने आज मीडिया से बात करते हुए प्रवासी भारतीय सम्मेलन, करणी सेना आंदोलन सहित अन्य कई मुद्दों पर प्रदेश की शिवराज सरकार को कठघरे में खड़ा किया, उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में आए तमाम इन्वेस्टर्स का हम स्वागत करते हैं। मध्य प्रदेश में विश्वास की एक नई परंपरा बने हम इस बात का स्वागत करते हैं लेकिन प्रदेश में निवेश तब आता है जब निवेशकों को हमारे प्रदेश में विश्वास हो, केवल भाषण बाजी करने से और विज्ञापन व मीडिया इवेंट्स से निवेश नहीं आता, विज्ञापन तो 18 वर्षों से चल रहे हैं विगत 18 वर्षों में कई इन्वेस्टर्स समिट हुए 6500 प्रस्ताव आए। हम पूछना चाहते हैं कितने प्रस्ताव धरातल पर उतरे? कमल नाथ ने कहा कि ये बड़े ही दुख की बात है कि प्रवासी भारतीय सम्मेलन में आये तमाम NRI बंधुओं को असुविधा का सामना करना पड़ा। यह मध्य प्रदेश की परंपरा नहीं है।
करणी सेना के आंदोलन पर कही बड़ी बात
करणी सेना के आंदोलन के सवाल पर कमल नाथ ने कहा कि किसी भी बात का हल चर्चा के माध्यम से किया जाना चाहिए । मुख्यमंत्री को और सरकार को समझना चाहिए कि उनका आक्रोश किस बात पर है और उनकी बात सुनकर रास्ता निकालने का प्रयास करना चाहिए। मैंने अपनी सरकार में यह परंपरा बनाई थी कि सभी संगठनों की समस्या को सुना जाए और उनसे बातचीत की जाए।
करणी सेना के आंदोलन में कांग्रेस के शामिल नहीं होने पर दिया ये जवाब
करणी सेना द्वारा उनके आंदोलन में कांग्रेस के सहयोग नहीं करने के सवाल पर कमल नाथ ने कहा कि ये आंदोलन भाजपा सरकार के खिलाफ कर रहे हैं इससे कांग्रेस का इससे कोई लेना देना नहीं है , ये एक समाज कर रहा है इसमें कांग्रेस क्यों हस्तक्षेप करेगी , यदि वे हमसे बात करना चाहते हैं तो हम करेंगे लेकिन अभी तक तो उन्होंने ऐसे इच्छ अव्यक्त की नहीं।
समझाया धार्मिक और अधार्मिक का अंतर
राहुल गांधी के कौरवों वाले बयान पर जवाब देते हुए कमल नाथ ने कहा कि राहुल गांधी ने आरएसएस की तुलना कौरवों से नहीं की, उन्होंने धार्मिक और अधार्मिक होने के अंतर को समझाया है। केवल नेकर पहन लेने से कोई धार्मिक नहीं हो जाता। हम भी धार्मिक हैं , हम जब भी किसी धार्मिक आयोजन में जाते हैं भाजपा और आरएसएस के पेट में दर्द शुरू हो जाता है। क्या धर्म की कोई एजेंसी या डिस्ट्रीब्यूटरशिप भाजपा के पास है?
अश्लील सीडी मामले पर ये बोले कमल नाथ
अश्लील सीडी मामले पर जवाब देते हुए पीसीसी चीफ ने कहा कि – मैंने आप सबसे पहले भी कहा था कि पुलिस के कुछ अधिकारी कुछ वीडियो मुझे लैपटॉप पर दिखाने लाये अवश्य थे ,परंतु मैंने तत्काल इस विषय में गंभीरतापूर्वक जांच के आदेश दे दिए थे। मैं नहीं चाहता था मध्य प्रदेश की बदनामी हो।
प्रशासनिक और पुलिस अफसरों को फिर दी चेतावनी
कमल नाथ ने प्रशासनिक और पुलिस अफसरों को दी गई चेतावनी दोहराते हुए कहा कि जो अधिकारी कर्मचारी बीजेपी का बिल्ला लिए जेब में घूम रहे हैं अथवा जो पुलिसकर्मी अपनी वर्दी का या जो अधिकारी अपनी शपथ का सम्मान नहीं कर रहे हैं वक्त आने पर उनके खिलाफ एक्शन जरूर लेंगे। जो लोग ईमानदारी से कार्य कर रहे हैं उन्हें डरने की क्या आवश्यकता है?