भोपाल : मध्य प्रदेश में नगरीय निकाय चुनाव 2022 के परिणामों ने कांग्रेस पार्टी के कार्यकताओं में उत्साह का संचार हुआ है। क्योंकि पिछली बार के हिसाब से इस चुनाव में कांग्रेस का अच्छा प्रदर्शन रहा। नगर निगम में 5 सीटों पर जीत दर्ज की। और अब कांग्रेस का संगठन 2023 के विधानसभा चुनाव के लिए रणनीति में जुट गया हैं। कांग्रेस 2 अक्टूबर से प्रदेशभर में गांधी चौपाल के जरिए लोगों तक अपनी बातें पहुंचाने की तैयारी में है।
दरअसल एक बार फिर कांग्रेस महात्मा गांधी का सहारा लेने जा रहीं हैं। इस गांधी चौपाल के जरिए कांग्रेस ने अपने बूथ स्तर तक के कार्यकर्ता को सक्रिय करने की रणनीति तैयार की है। इस अभियान में विधायक से लेकर हर कार्यकर्ता को सक्रियता से भाग लेने के निर्देश दिए गए हैं।
इसे लेकर कांग्रेस प्रदेश संगठन के प्रभारी ने बताया कि गांधी चौपाल में नुक्कड़ नाटक, खेती बाड़ी, पेयजल और सिंचाई के साधन, गांव की साफ-सफाई, स्वास्थ्य एवं शिक्षा की समस्या जैसे मुद्दों पर चर्चा की जाएगी। और इसके साथ ही गांवों के धार्मिक स्थानों पर पूजन-पाठ भी कराएगी।
कांग्रेस के अन्य नेता ने कहा कि महात्मा गांधी हमारे प्रेरणा स्रोत हैं और उन्होंने हमेशा अंत्योदय के कल्याण का रास्ता दिखाया है। और सालों से इसी विचार पर कांग्रेस देश में अपनी सरकार चलाई है। और एक बार फिर प्रदेश में अपनी जड़ें मजबूत करने हम गांधी के दिखाए मार्ग पर चलेंगे।
बता दें कि कांग्रेस पर अपने ही कैडर को एक बार फिर से खड़ा करने की चुनौती है। और यहीं कारण है कि पार्टी अगले चुनावों तक लगातार अलग अलग कार्यक्रम चलाएगी। गांधी चौपाल के अलावा भारत जोड़ो अभियान, कांग्रेस नेताओं की पदयात्रा जैसे कार्यक्रम भी शामिल हैं।
कांग्रेस पार्टी बूथ स्तर तक संगठन मजबूत करने की रणनीति में जुट गई है। और इसी कड़ी में निकाय चुनाव में गड़बड़ी करने वाले और निष्क्रिय जिलाध्यक्षों को हटाया जा सकता है। ऐसे में लगभग 10 से 13 जिलों के जिला अध्यक्षों को बदला जा सकता है। वहीं प्रदेश स्तर से संगठन के कामों में ढ़ील बरतने वाले जिलाध्यक्षों को बदलकर सक्रिय कार्यकर्ताओं को मौका दिया जा सकता हैं।
देखा जा रहा है कि मिशन 2023 को सफल बनाने के लिए कांग्रेस एकजुट नजर आ रही है। राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने प्रदेश भर से आए कार्यकर्ताओं से देर रात तक की मुलाकात। जानकारी मिली है कि गुरुवार देर शाम से 6 घंटे तक कार्यकर्ताओं से मुलाकात करते रहें। और इस दौरान कार्यकर्ताओं ने खुलकर दिग्विजय सिंह से अपनी समस्याएं साझा की। बताया जा रहा है कि देर रात 1 बजे तक दिग्विजय सिंह ने कार्यकर्ताओं से मुलाकात की हैं।