भोपाल : मध्य प्रदेश में नवंबर महीने में विधानसभा चुनाव प्रस्तावित हैं। नवंबर महीने के पहले हफ्ते में आचार संहिता लागू हो सकती है। ऐसे में अब पार्टिंयों के पास महज एक महीने का ही समय बचा है। बीजेपी ने इस एक महीने को भुनाने के लिए रणनीति बना ली है। पार्टी 2 सितंबर से 24 सितंबर तक जन आशीर्वाद यात्रा आयोजित करेगी। यह यात्रा प्रदेश के सभी 230 विधानसभा सीटों को कवर करेगी। यह बीजेपी का एमपी में अंतिम मास्टर स्ट्रोक है।
जन आशीर्वाद यात्रा को लेकर बीजेपी ने पूरी तैयारी कर ली है। बीजेपी के प्लान के अनुसार यात्रा में 7 रथ शामिल होंगे। इन हाईटेक रथों में वीवीआईपी सुविधाएं रहेंगी। पांच रथों को यात्रा में शामिल किया जाएगा, जबकि 2 रथों को सुरक्षित रखा जाएगा। जन आशीर्वाद यात्रा प्रदेश के पांच प्रमुख स्थानों से शुरू होगी। इसके लिए पार्टी प्रदेश के प्रसिद्ध स्थल, आदिवासी वीरों की भूमि, धार्मिक स्थान, किसी शहीद की जन्मस्थली का चुनाव कर रही है। जनआशीर्वाद का रथ पूरे प्रदेश की 230 सीटों में 12 हजार किलोमीटर का सफर तय करेगा। पूरे प्रदेश को कवर करने के बाद 24 सितंबर तक सभी यात्राएं राजधानी भोपाल पहुंचेंगी।
यहां से शुरू होंगी यात्राएं
रानी दुर्गावती की वीर स्थलीय जबलपुर का बरेला, राम की वनवास स्थली चित्रकूट, चंद्रशेखर आजाद की भूमि भाबरा, झाबुआ, खंडवा में टंट्या मामा की जन्मस्थली, नर्मदा उद्गम स्थल अमरकंटक।
रथयात्रा के बाद कार्यकर्ताओं में भरेंगे जोश
24 सितंबर को सभी रथ जब वापस लौट आएंगे। उसके दूसरे ही दिन 25 सितंबर को भोपाल में कार्यकर्ता महाकुंभ होगा। इसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कार्यकर्ताओं को संबोधित करेंगे।
इसलिए हो रही जल्दबाजी
प्रदेश में नवंबर के पहले हफ्ते में आचार संहिता लग सकती है। आपको बता दें कि साल 2018 के विधानसभा चुनाव के लिए आचार संहिता 6 अक्टूबर को लग गई थी। इससे पहले साल 2013 के चुनाव में 8 अक्टूबर को आचार संहिता लागू की गई थी।
पांच नेता करेंगे लीड
वहीं, जन आशीर्वाद यात्रा की कमान बीजेपी के पांच बड़े नेताओं के हाथ में होंगी। अलग-अलग क्षेत्रों के निकली यात्राओं की कमान पांच नेताओं के हाथ में होगी। सीएम शिवराज सिंह चौहान के अलावे के चार नेता और होंगे, जो जन आशीर्वाद यात्रा को लीड करेंगे। इस यात्रा के जरिए बीजेपी 230 सीटों तक पहुंचने की कोशिश करेगी।