भोपाल : मध्य प्रदेश के संविदा कर्मचारियों अधिकारियों के लिए अच्छी खबर है। संविदाकर्मियों के हित में की गई सीएम शिवराज सिंह चौहान की घोषणा के अब विभागों ने उन पर अमल करना शुरू कर दिया है। एक तरफ सामान्य प्रशासन विभाग ने कर्मचारियों की नाराजगी दूर करने के लिए सेवा शर्तों में संशोधन का कार्य शुरू कर दिया है।वही दूसरी तरफ संविदा कर्मियों को 100 फीसदी वेतनमान का लाभ देने के लिए वित्त विभाग ने भी तैयारियां शुरू कर दी है। वित्त विभाग ने सेवा शर्तों के संबंध में निर्देश जारी करने के बाद अब सभी विभागों को पत्र लिखा है।
वेतन में संशोधन की प्रक्रिया, नियमित भी होंगे
खबर है कि वित्त विभाग ने संविदाकर्मियों को सौ प्रतिशत वेतन देने के संबंध में सभी विभागों से पूछा गया है कि कितने संविदाकर्मी, किस प्रक्रिया से, किस पद के विरुद्ध भर्ती किए गए हैं। इनके समकक्ष कर्मचारियों का न्यूनतम और अधिकतम वेतनमान कितना है और सौ प्रतिशत वेतन देने में राज्य सरकार पर कितना अतिरिक्त वित्तीय भार आएगा।यह जानकारी 31 जुलाई तक सभी विभाग प्रमुखों को देनी है ताकि वेतन में संशोधन की प्रक्रिया पूरी कर कर्मचारियों को लाभ दिया जा सके।वही नियमित पदों से समकक्षता निर्धारण को लेकर विभागों द्वारा की जा रही तैयारी की समीक्षा मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस एक अगस्त को करेंगे।
वित्त विभाग ने विभागों से मांगी ये जानकारी
- संविदा पद का नाम, वर्तमान में कार्यरत कर्मचारी, समकक्ष पद, भर्ती के लिए अर्हताएं, किस प्रक्रिया से भर्ती हुई, किस योजना में भर्ती हुई और एक अप्रैल 2023 की स्थिति में वेतन के बार में प्रपत्र में भी जानकारी देनी है।
- केंद्र और राज्य सरकार का अंशदान, प्रशासनिक व्यय, सौ प्रतिशत वेतनमान देने में अंतर की राशि का ब्योरा भी देना होगा ताकि विभाग यह आकलन कर सके कि घोषणा को पूरा करने के लिए किस विभाग को कितना अतिरिक्त बजट देना होगा।
नियम-शर्तों में संशोधन की प्रक्रिया भी शुरू
इसके अलावा सामान्य प्रशासन विभाग भी सेवा शर्त संबंधी दिशा-निर्देशों में संशोधन की तैयारियां शुरू कर दी है, इसमें नियमित कर्मचारियों की तरह अवकाश, अनुकंपा सहित सुविधाओं पर विचार किया जा रहा है, कि यह लाभ किस तरह से दिया जाना है।प्रदेश में लगभग ढाई लाख संविदा कर्मचारी अलग-अलग विभागों में विभिन्न पदों पर कार्यरत हैं।सामान्य प्रशासन विभाग ने भी सभी विभागों को 31 जुलाई तक यह कार्य पूरा करने के निर्देश दिए हैं। उधर, वित्त विभाग तीन अगस्त को सभी विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक बुलाई है। इसमें सौ प्रतिशत वेतन देने में आने वाले अतिरिक्त वित्तीय भार और विभागों के स्थापना व्यय को लेकर चर्चा की जाएगी।संभावना जताई जा रही है कि रक्षाबंधन के बाद से संविदा कर्मचारियों को यह लाभ मिल सकता है।
नियमित होने के लिए करना होगा इन शर्तों का पालन
- सीएम शिवराज सिंह चौहान ने भले ही कर्मचारियों को नियमित करने का ऐलान कर दिया है लेकिन संविदाकर्मियों के लिए ये राह आसान नहीं है, इसके लिए उन्हें कई नियमों का पालन करना होगा।खबर है कि वर्तमान में जिस पद पर सविंदा कर्मचारी काम कर रहे हैं, उन्ही पदों पर उन्हे नियमित नहीं किया जाएगा। इसके लिए उनका चयन विभिन्न विभागों में नियमित पदों पर होेने वाली सीधी भर्ती प्रक्रिया के जरिए होगा। इन भर्ती प्रक्रियाओं में संविदा कर्मचारियों के लिए 50 प्रतिशत पद आरक्षित रखे जाएंगे। इन पदों को कैरी फारवर्ड नहीं किया जाएगा।
- इसके अलावा ऐसे संविदा कर्मचारी जो पांच साल तक संविदा के तहत नियुक्त रहे हैं, केवल उन्हे ही आरक्षण व्यवस्था का लाभ मिलेगा। पांच साल के अनुभव का प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना होगा। यह प्रमाण जिला अथवा राज्य स्तर के अधिकारी द्वारा जारी किया जाएगा।हालांकि कर्मचारी ने अगर एक पद के बजाए विभिन्न संविदा पदों पर कार्य किया और पांच साल की अवधि पूर्ण हो रही है तो वे भी इसके लिए पात्र होंगे।
- जिन संविदाकर्मी को पद से हटाया गया था और बाद में दोबारा पद पर रखा गया। अगर वे भी हटाने की अवधि को छोड़कर पांच साल का अनुभव रखते हैं तो उन्हे भी इसकी पात्रता होगी।संविदा कर्मी जिस नियमित पद के लिए आवेदन कर रहा है, उस पद के लिए निर्धारित शैक्षणिक योग्यता को पूरा करना होगा। ऐसा न होने की स्थिति में वह आवेदन के लिए पात्र नहीं होगा।