बालाघाट : भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने पूर्व सीएम दिग्विजयसिंह पर बड़ा हमला बोला है। बालाघाट विधानसभा के कार्यकर्ता सम्मेलन में महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि हम कहते थे कि सौगंध राम की खाते है मंदिर वहीं बनायेंगे तो दिग्विजयसिंह बोलते थे कि तारीख नहीं बतायेंगे। तारीख भी बता दिया, भूमिपूजन भी कर दिया और 2024 जनवरी-फरवरी में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा भी कर देंगे।
मैं पार्टी की ओर से आपको निमंत्रण दे रहा हूं। 2024 के जनवरी, फरवरी में पूरे परिवार और खानदान सहित भगवान राम के मंदिर चले जाना। अपने जिंदगी में जितने भी पाप किए हैं। आपके सारे पाप धुल जायेंगे।
विधानसभा क्षेत्र में विशाल कार्यकर्ता सम्मेलन
मध्यप्रदेश में आगामी महीनों में होने वाले विधानसभा चुनाव की सरगर्मी तेज है। भाजपा विधानसभा क्षेत्र में कार्यकर्ता सम्मेलन कर कार्यकर्ताओं में जोश भरने का काम कर रही है। बालाघाट विधानसभा कार्यकर्ता सम्मेलन में पहुंचे राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय यही नहीं रूके बल्कि उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष कमलनाथ पर भी भाजपा की नकल करने का आरोप लगाते हुए कहा कि इस उम्र में यदि रामकथा करवा रहे है तो उनका अंतिम अवसर अच्छा ही होगा, लेकिन वोट के लिए वोट की राजनीति के लिए आप रामकथा करें। अरे भाई मुझे याद है अच्छे तरीके से, कांग्रेस केवल एक ही त्यौहार मनाती थी। रोजा इफ्तार का, इसके अलावा कोई त्यौहार नहीं मनाती थी।
आज कल रामनवमी मना रहे है, अरे भाई नकल में भी अकल चाहिए। जब नर्मदा जी की पूजा कर रहे थे, तब जूते भी नहीं उतारे थे, उन्हें क्या पता कि नर्मदाजी के प्रति क्या श्रद्वा है। आरती जूते पहनकर कर रहे थे। थोड़ी नकल भारतीय जनता पार्टी की करो तो अकल तो लगाओ थोड़ी, नकल से आदमी बड़ा नहीं होता। हमने काम किया है और आगे भी काम करेंगे। हमने मध्यप्रदेश को आगे बढ़ाया है देश को आगे बढ़ाया है। आगे भी हम मध्यप्रदेश को आगे बढ़ायेंगे, देश को आगे बढ़ायेंगे। हमने मध्यप्रदेश की गरीबी दूर की है देश की गरीबी दूर की है। हमने इंदिरा जी जैसा नारा नहीं दिया कि गरीबी हटाओ, हमने गरीब की गरीबी दूर करने के लिए योजनायें बनाई। यदि योजना गिनाने का काम करूंग तो शाम हो जायेगी। विश्व में मोदी जी ने देश का डंका बजाया हैं। भारत की तरफ सारी दुनिया देख रही है। मोदी जी के नेतृत्व में भारत के वैज्ञानिकों ने देश का मान-सम्मान बढ़ाया है।