ग्वालियर। ब्राह्मणों के खिलाफ अमर्यादित टिप्पणी करने के चलते भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित किये गए उमा भारती समर्थक नेता प्रीतम लोधी के बचाव में अब ओबीसी महासभा उतर आई है। ग्वालियर में ओबीसी महासभा ने एसपी ऑफिस के बाहर प्रदर्शन किया और सोशल मीडिया पर प्रीतम लोधी को गालियां और जान से मारने की धमकी देने वाले समाज विशेष के लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की है।
ओबीसी महासभा ग्वालियर के कार्यकर्ताओं ने आज शहर में सामाजिक न्याय मार्च निकाला। वे शहर की सड़कों से होते हुए एसपी ऑफिस पहुंचे और उन्होंने वहां प्रदर्शन किया। महासभा के नेताओं ने भाजपा पर जातिवाद, भेदभाव जैसे गंभीर आरोप लगाते हुए सरकार विरोधी नारे लगाये।
ओबीसी महासभा के ग्वालियर जिला अध्यक्ष राजेश कुशवाह ने कहा कि भाजपा ने प्रीतम लोधी पर तो कार्रवाई कर दी लेकिन जब नगर निगम चुनाव में भाजपा की महापौर प्रत्याशी सुमन शर्मा ने हमारे समाज के भाजपा के ही नेता जवाहर प्रजापति के खिलाफ अपशब्द कहे तब क्यों एक्शन नहीं लिया?
जिला अध्यक्ष ने कहा कि पार्टी से निष्कासन के बाद अब समाज विशेष के लोग प्रीतम लोधी को सोशल मीडिया पर गालियां दे रहे है और जान से मारने की धमकी दे रहे हैं , उन्होंने कहा कि यदि सरकार और पुलिस प्रशासन चाहता है कि वर्ग संघर्ष ना हो तो ऐसे लोगों के खिलाफ तत्काल FIR की जाए।
जिला अध्यक्ष ने कहा कि ये लोग केवल निष्कासित BJP नेता प्रीतम लोधी को ही नहीं पूरे लोधी समाज को गालियां दे रहे हैं, जो स्वीकार नहीं है , यदि पुलिस ने एक्शन नहीं लिया तो तीन दिन बाद एक बड़ा आंदोलन किया जायेगा। उधर एडिशनल एसपी मृगाखी डेका ने कहा कि हमने शिकायती आवेदन ले लिया है, उन्होंने जिन लोगों के खिलाफ शिकायत की है उसकी जांच कर FIR की जाएगी।
गौरतलब है कि तीन दिन पहले वीरांगना रानी अवंति बाई लोधी की 191वीं जयंती पर शिवपुरी जिले के बदरवास के ग्राम खरैह में आयोजित पंच-सरपंच, जनपद सदस्य व जिला पंचायत सदस्यों सहित छात्रों के सम्मान कार्यक्रम में निष्कासित भाजपा नेता प्रीतम लोधी द्वारा ब्राह्मणों को लेकर अमर्यादित टिप्पणी की गई थी। जिसके बाद प्रीतम लोधी ब्राह्मण समाज के निशाने पर आ गए थे।
पार्टी ने भी प्रीतम लोधी के बयान को अनुचित मानते हुए उन्हें स्पष्टीकरण देने के लिए भोपाल तलब किया था, प्रीतम लोधी ने माफ़ी भी मांगी और लिखित स्पष्टीकरण भी दिया लेकिन पार्टी ने उससे असहमति जताते हुए पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित कर दिया।