नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज यानी 3 सितंबर को एक इतिहास रचते हुए ब्रूनेई के दौरे पर रवाना हो रहे हैं। यह दौरा इसलिए सबसे ज्यादा खास है क्योंकि यह किसी भी भारतीय प्रधानमंत्री का ब्रूनेई का पहला आधिकारिक दौरा है। आपको बता दें, भारत और ब्रुनेई के बीच राजनयिक संबंधों के 40 साल पूरे होने के मौके पर यह यात्रा दोनों देशों के बीच सहयोग को एक नए स्तर पर ले जाने का एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।
प्रधानमंत्री मोदी की इस यात्रा से व्यापार सांस्कृतिक आदान-प्रदान और रणनीतिक साझेदारी के क्षेत्र में नए आयाम खुलने की उम्मीद है। ब्रूनेई के सुल्तान हाजी हसलन बोल्किया द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को उनके देश में आने का निमंत्रण दिया गया था। जिसे स्वीकार करते हुए प्रधानमंत्री मोदी अब ब्रूनेई के दो दिवसीय दौरे पर जा रहे हैं।
सुल्तान हाजी हसलन बोल्किया ने मात्र 21 साल की उम्र में ही साल 1967 में ब्रूनेई की गद्दी संभाली थी। 4.5 लाख की छोटी लेकिन समृद्ध आबादी वाले इस देश में बोल्किया परिवार लगभग पिछले 600 सालों से राज कर रहा है। आपको बता दें, सुल्तान हाजी हसलन बोल्किया इस शाही परिवार के 29 वें वारिस हैं।
सुल्तान हाजी हसलन बोल्किया दुनिया के सबसे धनी शासकों में से एक है। उनके पास अपार संपत्ति है। साल 2009 में एक रिपोर्ट के आधार पर उनकी संपत्ति का अनुमान 1.36 लाख करोड रुपए लगाया गया था। लेकिन अब उनकी संपत्ति में और भी ज्यादा वृद्धि हुई है और अब वह 2.88 लाख करोड रुपए से भी अधिक हो चुकी है।
सुल्तान हाजी हसलन बोल्किया की अपार संपत्ति का सबसे बड़ा स्रोत ब्रूनेई के विशाल तेल भंडार और प्राकृतिक गैस संसाधन है। ब्रूनेई एक समृद्ध तेल और प्राकृतिक गैस भंडार वाला देश है और इसी से देश की अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलती है। सुल्तान की कमाई का मुख्य हिस्सा इन ऊर्जा संसाधनों से आता है जो न केवल ब्रूनेई की आर्थिक समृद्धि का आधार है बल्कि उनकी व्यक्तिगत संपत्ति को भी ऊंचाइयों पर ले गए हैं।
आपको बता दें, एलिजाबेथ द्वितीय के बाद सबसे लंबे समय तक शासन करने वाले शासक हैं, सुल्तान हाजी हसलन बोल्किया। साल 2017 में उन्होंने 50 सालों के शासन की गोल्डन जुबली बनाई जो उनके देश में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हुई। गोल्डन जुबली समारोह के दौरान उन्होंने अपनी दीर्घकालिक सेवा और राष्ट्र के प्रति
अपने प्रतिबद्धता का जश्न बनाया।
सुल्तान हाजी हसलन बोल्किया के पास के ब्रूनेई में एक बहुत बड़ा महल है जो 20 लाख वर्ग फीट में फैला हुआ है। इसे साल 1984 में बनाया गया था। ‘इस्ताना नुरुल इमान पैलेस’ नाम का यह महल विश्व के सबसे बड़े महल के रूप में गिनीज बुक में दर्ज है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार इस महल की कीमत 2250 करोड रुपए से भी अधिक है।